देश के इस एग्री टेक कंपनी को लंदन में मिला अर्थशॉट ''Clean our air'' अवार्ड, ईनाम में मिले रु.12 करोड़
पांच साल पहले लॉन्च की गई इस स्पर्धा में पांच परियोजनाओं को हर साल चुना जाता है, ईनाम ऐसे प्रोजेक्ट्स को दिया जाता है जो पर्यावरण रक्षा के लिए अहम भूमिका निभा रहे हैं.
महारानी एलिजाबेथ द्वितीय के पोते प्रिंस विलियम ने रविवार को लंदन में एक समारोह के दौरान अर्थशॉट पुरस्कार प्रदान किए. इसमें कोस्टा रिका, इटली, बहामास और भारत की परियोजनाओं ने पुरस्कार प्राप्त किए. भारतीय कंपनी Takachar ने एक पोर्टेबल मशीन बनाने के लिए अर्थशॉट "Clean our Air" पुरस्कार जीता जो कि पराली को खाद में बदल सकती है. ये प्रोजेक्ट किसानों को पराली जलाने से बचने के लिए प्रेरित करती है ताकि वायु प्रदूषण की समस्या से छुटकारा मिल सके.
पराली जलाने से छुटकारा दिलाता है प्रोजेक्ट
उत्तर भारत में पराली जलाना लंबे समय से वायु प्रदूषण की एक बड़ी वजह रही है. राष्ट्रीय राजधानी की जहरीली धुंध को जोड़ते हुए, धुआं लगभग 250 किमी (155 मील) दूर दिल्ली तक जाने की संभावना बनी रहती है. पर्यावरण की रक्षा के इरादे से शुरू की गई इस स्पर्धा में हर साल पांच परियोजनाएं चुनी जाती हैं जो धरती की पर्यावरणीय समस्याओं के समाधान खोजने के लिए काम कर रही है. ईनाम पानेवाले प्रोजेक्ट को £1.2 मिलियन ($1.4 मिलियन) यानी भारतीय करेंसी में तकरीबन 12 करोड़ रुपए दिए जाते हैं.
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ईनाम पानेवाले दूसरे देश
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इसके अलावा, द रिपब्लिक ऑफ कोस्टा रिका को प्रोटेक्ट एंड रिस्टोर नेचर अवार्ड दिया गया. ये अवार्ड वर्षावन को दोबारा जीवन देने के लिए स्थानीय नागरिकों की ओर से नेचुरल ईकोसिस्टम को बहाल करने के लिए दिया गया. कोस्टा रिका एक ऐसा देश था जिसने कभी अपने अधिकांश जंगलों को साफ किया था, लेकिन अब इसने पेड़ों की संख्या को दोगुना कर दिया है और इसे दूसरों के अनुसरण के लिए एक आदर्श के रूप में देखा जाता है.
बहामास के कोरल वीटा के दो दोस्तों की ओर से चलाए जा रहे प्रोजेक्ट के लिए 'रिवाइव अवर ओशन' अवार्ड दिया गया. ये अवार्ड इन दोनों दोस्तों को इसलिए दिया गया क्योंकि ये मूंगा उगा कर दुनिया में मरती कोरल रीफ्स को दोबारा जीवनदान दिया है. इन दोस्तों ने मिलकर विशेष टैंकों का इस्तेमाल कर उन्होंने सामान्य रूप से प्रकृति में 50 गुना तेजी से मूंगा विकसित करने का एक तरीका विकसित किया है.
एक परियोजना जो थाईलैंड-जर्मनी-इटली के बीच एक सहयोग थी, ने AEM इलेक्ट्रोलाइजर बनाने के लिए "फिक्स अवर क्लाइमेट" पुरस्कार लिया, जो पानी को हाइड्रोजन और ऑक्सीजन में विभाजित करके हाइड्रोजन बनाने के लिए अक्षय ऊर्जा का उपयोग करता है. हाइड्रोजन एक स्वच्छ गैस है लेकिन यह आमतौर पर जीवाश्म ईंधन को जलाने से उत्पन्न होती है.
इटली के द सिटी ऑफ़ मिलन फ़ूड वेस्ट हब्स के लिए "बिल्ड ए वेस्ट-फ्री वर्ल्ड", परियोजना के तहत इस्तेमाल में न लाए जानेवाले भोजन को इकट्ठा करके उसे जरूरतमंद लोगों को देकर भोजन की बर्बादी और भूख से निपटने में मदद की है.
05:14 PM IST